लूलू मॉल का मालिक कौन है, लूलू मॉल कहाँ है और लूलू मॉल का मतलब क्या है | what is meaning of lulu mall, where is lulu mall located and who is lulu mall owner

 

लुलु मॉल (लुलु ग्रुप)

  • UAE के नागरिक हैं लुलु ग्रुप के मालिक

  • लुलु नाम का अर्थ

  • UAE के शेख को भा गए यूसुफ

  • 57000 लोगों को रोजगार

  • अबूधाबी के सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार से सम्मानित

आजकल हम छोटी-बड़ी हर चीजों के लिए मॉल पर डिपेंड हैं। कपड़े हो, ग्रॉसरी आइटम, घर की जरूरत का या सजावट का सामान, ये सब लेने के लिए हम मॉल की तरफ ही भागते हैं, कुछ नहीं तो छुट्टी वाले दिन फ्रेंड्स के साथ घूमने या फैमिली के साथ घूमने मॉल का ही रुख करते हैं। भारत में छोटे-बड़े कई मॉल है। जिनमें लूलू मॉल का नाम सुर्ख़ियों मैं आया। तब भारत के लोगो मैं जिज्ञासा हुई की लूलू मॉल का मालिक कौन है, लूलू मॉल कहाँ है और लूलू मॉल का मतलब क्या है। आपके सभी सवालों का जवाब इस पोस्ट मैं मिल जाएगा


  • लुलु ग्रुप एक इंटरनेशनल बहुराष्ट्रीय कंपनी है, और यह एशिया की सबसे बड़ी खुदरा कंपनियों में से एक है। यह ग्रुप सुपरमार्केट, रिटेल स्टोर, डिपार्टमेंट स्टोर, शॉपिंग मॉल और हाइपर मार्केट सेगमेंट में काम करती हैं। कंपनी कई तरह का कारोबार करती है जैसे फ्रूट, सब्जी, दालें, चावल, फुटवियर, सिल्क एक्सपोर्ट, गारमेंट आदि। 

  • लुलु ग्रुप के 5 मॉल कोच्चि, त्रिवेंद्रम, बेंगलुरु, त्रिपुर और लखनऊ मैं है। लखनऊ में खुले लुलु मॉल का उद्घाटन उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने 10 जुलाई 2022 को किया था। लखनऊ में बना लुलु मॉल करीब 11 एकड़ मै बना है। वैसे कोच्चि में बना लुलु मॉल सभी लुलु मॉल से सबसे बड़ा है। और यह 10 मार्च 2013 को खोला गया है।

लुलु ग्रुप का ज्यादातर कारोबार अरब देशों में फैला है। इसके अलावा लुलु ग्रुप का अमेरिका, यूरोप सहित 22 देशों में कारोबार फैला है। लुलु ग्रुप ने अपना पहला सुपर मार्केट अबू धाबी मैं 1995 में खोला। बाद में आबू धाबी में और जगह भी लुलु सुपर मार्केट स्टोर खोले गए और दुबई में साल 2000 में अपना पहला हाइपर मार्केट स्टोर खोला। 

लुलु ग्रुप के मालिक

एम. ए. यूसुफ अली लुलु ग्रुप के मालिक है। युसूफ अली का जन्म 15 नवंबर 1955 को केरल के त्रिशूर जिले के नट्टिका गांव में हुआ। मिडिल क्लास मुस्लिम परिवार में जन्मे युसूफ वकील बनना चाहते थे लेकिन पिताजी का गुजरात में छोटा मोटा बिजनेस था। युसूफ भी अपने पिताजी के बिजनेस में  हाथ बाटने  के लिए गुजरात आ गए। जब यूसुफ गुजरात आए तब उनकी उम्र 15 साल थी। युसूफ अली अब यूएई के नागरिक हैं। 18 साल की उम्र में अपने चाचा का खुदरा व्यापार संभालने और अपने भविष्य को नई ऊंचाई देने के लिए युसूफ अबू धाबी चले आए। यहीं से उन्हें अपने बिजनेस को और आगे ले जाने के लिए नए आइडियाज मिले और उन्होंने सुपरमार्केट खोलने का विचार किया। और अब लुलु ग्रुप की सुपर मार्केट यूएई, भारत के अलावा सिंगापुर, ऑस्ट्रेलिया जैसे देशों में भी इनकी ब्रांच है। 

लुलु नाम का अर्थ 

"लुलु" अरबी भाषा का शब्द है। लुलु ग्रुप का पहला सुपर मार्केट 1995 मैं अरब देशों मे खुला। लुलु मॉल (ग्रुप) अरब देश में खुलने के कारण इस ग्रुप की पहली प्राथमिकता उसी देश के कस्टमर थे। इसलिए इसका नाम भी अरबी भाषा मैं रखा गया लुलु। जिसका अर्थ होता है "मोती" Pearl। 

UAE के शेख को भा गए यूसुफ

बात 1990 की है जब यूएई में खाड़ी युद्ध ने दस्तक दी। उस समय वहां रह रहे काफी भारतीय  यूएई को छोड़कर अपने देश वापस आ रहे थे लेकिन यूसुफ अली ने भारत ना आकर और वहीं रहकर अपने कारोबार आगे बढ़ाने का सोचा। यह बात वहां के शेख जाएद को पता चली तो उन्होंने युसूफ से पूछा सब लोग यहां से जा रहे हैं पर आप यहां पर ही रह कर अपने कारोबार क्यों बढ़ा रहे हैं यूसुफ ने जवाब दिया समस्याओं से भागना उन्हें पसंद नहीं। उनके इसी जवाब ने वहां के शेख को उनका मुरीद बना दिया यहां तक कि शेख परिवार के वह काफी करीबी बन गए। 2019 में जब प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी शेख परिवार से मुलाकात हुई तो वहां पर यूसुफ भी मौजूद थे। 


57000 लोगों को रोजगार

लुलु ग्रुप का कारोबार सबसे ज्यादा अरब देशों में फैला है। लुलु ग्रुप का मुख्यालय यूएई की राजधानी आबू धाबी मैं है। इसका सालाना का टर्नओवर 8 अरब डॉलर का है। लुलु ग्रुप में करीब 57000 लोगों को रोजगार दिया है। युसूफ अली को व्यापार के साथ-साथ चैरिटी के लिए भी जाना जाता है। गुजरात में आए भूकंप और सुनामी मैं उन्होंने बड़ी रकम राशि दान करके लोगों की मदद की है। यहां तक कि केरल में आई बाढ़ में जो लोग अपना घर गवा चुके थे उन लोग का घर पर से बचाने के लिए उन्होंने 9.5 करोड़ रुपए की मदद भी की। जिन देशों में भी मदद की जरूरत होती है युसूफ वहां मदद पहुंचाते हैं। 

अबूधाबी के सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार से सम्मानित

युसूफ अली को 2021 में अबूधाबी के प्रिंस हिज हाईनेस शेख मोहम्मद बिन जायद ने सर्वोच्च नागरिक पुरस्कार से सम्मानित किया। युसूफ अली को पद्मश्री और प्रवासी भारतीय सम्मान से भी नवाजा जा चुका है। युसूफ अली यूएई में रहने वाले सबसे अमीर भारतीय NRI में से एक हैं। 


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